बरनाला, रविवार सुबह सात बजे 25 साल के यूथ कांग्रेसी नेता हरमेश मित्तल उर्फ हनी के कैंसर पीड़ित 80 साल के दादा की मौत हो गई। घर में लोग इकट्ठा हुए थे। करीब पौने आठ बजे हनी बेडरूम में आया, जहां दादी और बुआ बैठी रो रही थीं। उसने बुआ से कहा कि आप कमरे में जाओ, मुझे इनसे बात करनी है। बुआ चली गई तो उसने दरवाजा बंद कर लिया। अलमारी से लाइसेंसी रिवॉल्वर निकाली। पहले दादी को दो गोलियां मारीं, फिर रोते हुए खुद पर गोली चलाई, जो कान को छूते निकल गई, उसने दोबारा सिर पर गोली मार ली। दोनों की अस्पताल में मौत हो गई। अस्पताल ले जाते वक्त दोस्त के पूछने पर हरमेश ने बताया कि मेरे लिए ये ठीक था, मैंने कर लिया अब मुझे कोई टेंशन नहीं। बताया जा रहा है कि वारदात वाले दिन ही हरमेश की शादी थी। चूंकि दादा बीमार थे इसलिए सिंपल कार्यक्रम रखा गया था। मानसा जाकर लड़की को चुन्नी चढ़ाकर ले आना था। रिश्तेदारों ने बताया कि दादा हरी राम टल्लेवालिया और 74 साल की दादी कृष्णा देवी ने हनी को पाला था। दोनों को बहुत चाहता था। हनी के पिता की मौत के बाद मां उसे जन्म देकर छोड़ गई थी। दादा करीब एक साल से कैंसर से पीड़ित थे। दोस्तों से अक्सर कहता था- दादा के बिना मैं नहीं रह पाऊंगा और मेरे बिना दादी। हनी के दोस्त अभी गोयल ने बताया कि दादा की बीमारी के कारण वह परेशान रहता था। 3 दिन पहले जब वह अस्पताल ले गया तो उन्हें तड़पता हुआ देख मुझसे से कहा कि मन कर रहा मैं इन्हें गोली मार दूं, सारी टेंशन ही खत्म हो जाएगी। उसने बताया हनी का फर्नीचर का शोरूम था। गोदाम और दुकानों से करीब दो लाख महीना किराया भी आता है।